डीएम ने अपात्र लोगों को चिन्हित कर पात्र लाभार्थियों तक पेंशन योजनाओं का लाभ पहुंचाने के लिए कार्य योजना कराई तैयार ।
सरकार द्वारा जन कल्याणकारी योजनाओं के तहत संचालित विभिन्न पेंशन योजनाओं के अंतर्गत पात्रों के सत्यापन के दौरान कुछ लाभार्थी मृतक पाए जा रहे हैं वहीं कुछ लाभार्थी ऐसे भी सामने आ रहे हैं जो अपात्र होते हुए भी पेंशन योजनाओं का लाभ प्राप्त कर रहे हैं।
जिलाधिकारी आन्जनेय कुमार सिंह ने ऐसे अपात्र लोगों को चिन्हित करने तथा उनके विरुद्ध कार्रवाई करने के साथ ही पात्र लाभार्थियों तक पेंशन योजनाओं का लाभ पहुंचाने के लिए विस्तृत कार्य योजना तैयार कराई है।
जिलाधिकारी ने मुख्य विकास अधिकारी की अध्यक्षता में जिला स्तर पर 05 सदस्यीय समिति,तहसील स्तर पर संबंधित उपजिलाधिकारी की अध्यक्षता में 04 सदस्यीय समिति एवं ब्लॉक स्तर पर खंड विकास अधिकारी की अध्यक्षता में 04 सदस्यीय समिति के साथ ही ग्राम स्तरीय एवं शहरी क्षेत्रों में भी अलग-अलग समितियों के गठन के लिए निर्देश जारी किए हैं।ग्राम स्तरीय समिति में पंचायत सचिव को अध्यक्ष एवं आंगनबाड़ी कार्यकत्री व रोजगार सेवक को सदस्य के रूप में नामित किया गया है एवं शहरी क्षेत्र में लेखपाल की अध्यक्षता में आंगनबाड़ी कार्यकत्री व सफाई नायक की समिति गठित की गयी है।जिलाधिकारी द्वारा जारी किए गए तिथि वार कार्य योजना के अनुसार 26 व 27 जुलाई को प्रत्येक ग्राम में अपात्रों की सूची प्रकाशित की जाएगी।28 जुलाई से 31 जुलाई तक अपात्रों से प्रत्यावेदन एवं पात्रों से आवेदन पत्र प्राप्त किए जाएंगे।1 अगस्त से 03 अगस्त तक चिन्हित अपात्रों से प्राप्त प्रत्यावेदनों का नियमानुसार निस्तारण किया जाएगा।04 अगस्त से 05 अगस्त के बीच नवीन आवेदन पत्रों का स्थलीय सत्यापन एवं अभिलेखीय परीक्षण किया जाएगा।06 अगस्त से 08 अगस्त तक विकास खंड एवं तहसील स्तर पर संबंधित खंड विकास अधिकारी एवं उपजिलाधिकारी की अध्यक्षता में गठित समिति द्वारा आवेदन पत्रों का रैंडमली सत्यापन कराते हुए 09 एवं 10 अगस्त को जनपद स्तर पर संबंधित नोडल विभाग को अग्रसारित किए जाएंगे।
जिला प्रोबेशन अधिकारी राजेश कुमार ने बताया कि जिलाधिकारी द्वारा जारी किए गए निर्देशों के अनुसार सर्वप्रथम सभी अपात्र लाभार्थियों की पेंशन तत्काल प्रभाव से रोकते हुए पात्र व अपात्रों की सूची सार्वजनिक रूप से प्रकाशित की जाएगी तथा ग्राम एवं वार्डों में समिति द्वारा आयोजित खुली बैठकों में सूची को पढ़कर सुनाया जाएगा।
तिथिवार निर्धारित कार्यक्रम के अंतर्गत चिन्हित अपात्र एवं पात्र लाभार्थियों के कुल डाटा का 20 प्रतिशत विकासखंड एवं तहसील स्तरीय समिति द्वारा रेंडमली सत्यापन के उपरांत जिला स्तरीय समिति को भेजा जाएगा तथा जिला स्तरीय समिति द्वारा कुल डेटा के 10 प्रतिशत लाभार्थियों का रैंडमली सत्यापन कराया जाएगा।
उन्होंने बताया कि सत्यापन हेतु तैयार की गई पूरी कार्ययोजना की नियमित मोनिटरिंग के लिए जिलाधिकारी द्वारा मुख्य विकास अधिकारी को नोडल अधिकारी नामित किया गया है।
उन्होंने बताया कि सार्वजनिक रूप से खुली बैठकों का आयोजन करने का मुख्य उद्देश्य यही है कि कोई भी पात्र व्यक्ति योजना के लाभ से वंचित न रहे साथ ही अपात्रों को भी चिन्हित करते हुए उनके विरुद्ध जांच करके कार्रवाई की जा सके। इसके अलावा यह भी निर्देश दिए गए हैं कि खुली बैठकों के आयोजन के दौरान कोविड-19 के दृष्टिगत मास्क पहनने एवं फिजिकल डिस्टेंसिंग को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जाए इसमें किसी भी स्तर पर लापरवाही न बरती जाए।