
राप्ती तट पर चल रहा है पक्के घाट का निर्माण।
मुआवजा व पैमाइश न होने से काश्तकार नाराज़, नहीं सुन रहे अधिकारी,
गोरखपुर। राप्ती नदी के तट पर निर्माणाधीन पक्के घाट का निर्माण कार्य चल रहा है। यहां के काश्तकारों की कई एकड़ जमीन ड्रेनेज खंड सिंचाई विभाग ने बिना मुआवजा व पैमाइश के अपने कब्जे में लेकर निर्माण शुरु कर दिया है। काश्तकार मंडलायुक्त, डीएम, एसडीएम के यहां गुहार लगा कर थक चुके हैं। मंगलवार को काश्तकार अधारे, गिरजा, ब्रिजलाल, विश्वनाथ, हाजी अली अहमद, अली हसन, तूफानी, झिनकी, रीता, सेवाती, अनारी, सुदामा, मत्ती, तेहुल, सुदामा आदि ने मुआवजा और पैमाइश की मांग को लेकर निर्माणाधीन कार्य रोकने की कोशिश की और आरोप लगाया कि अवैध तरीके से उनकी जमीन संबंधित विभाग ने अपने कब्जे में ले ली है। इसके बाद मौके पर मौजूद कर्मचारियों ने काश्तकारों को ड्रेनेज खंड के अधिकारियों से बात करने को कहा। दूरभाष पर काश्तकार सेराज अहमद ने ड्रेनेज खंड के आला अधिकारी से बात की। अधिकारी ने प्रार्थना पत्र लिखने को कहा, तब सेराज ने कहा कि दो माह पूर्व प्रार्थना पत्र आपको भेजा जा चुका है। अधिकारी ने बात बीच में काटकर फोन रख दिया। काश्तकार परेशान हैें। उनकी कहीं कोई सुनवाई नहीं हो रही है। वहीं निर्माणाधीन कार्य जारी है।
बताते चलें कि सिंचाई विभाग द्वारा राप्ती तट पर पक्के घाट का निर्माण कराया जा रहा है। जिसकी लंबाई 180 मीटर होगी। करीब 19 करोड़ रुपये की लागत से बन रहे पक्के घाट को अब और विस्तार दिया जा रहा है। नगर निगम के शवदाहगृह तक पक्के घाट का विस्तार को मंजूरी पहले ही मिल चुकी है। लेकिन काश्तकारों का आरोप है कि जिला प्रशासन ने ना तो अभी तक उनको मुआवजा दिया और ना ही जमीन की पैमाइश कराई गई।