भ्रम की दुनिया थी दूर वो खुद से होते गए..
चलो तुमको करते तुम्हारे हवाले
क्युकी हर वक्त यह वक्क्त साथ नहीं होता..
कहते है डर के आगे जीत हैं
कहते है डर के आगे जीत हैं..
पर जीतता भी वही जिसमे पाने व जीतने की लगन हो
वर्ना सड़को पर तो चलने वाला हर एक शख्स खुद को बादशाह ही समझता हैं….
लेखक/पत्रकार विनय तिवारी