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सभी अधिकारी बाढ़ की गंभीरता को समझें और तद्नुसार कार्यवाही सुनिश्चित करे – डीएम

 

बस्ती(रुबल कमलापुरी) ।जिलाधिकारी आशुतोष निरंजन ने बाढ़ से जुड़े सभी अधिकारियों से 03 दिन के भीतर बाढ़ की कार्य योजना तथा कॉन्टेजेन्सी प्लान जमा करने का निर्देश दिया है। कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित बाढ़ स्टीयरिंग ग्रुप की बैठक में उन्होंने कहा कि सभी अधिकारी बाढ़ की गंभीरता को समझें और तद्नुसार कार्यवाही सुनिश्चित करे। इसमें किसी प्रकार की शिथिलता या लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने कहा कि बाढ़ प्रभावित क्षेत्र का आकलन कर लिया जाए। हरैया एवं सदर तहसील में आबादी बसावट तथा राजस्व ग्राम जो बाढ़ क्षेत्र में आते हैं, की सूची तैयार कर दी जाए। ब्लॉक एवं ग्राम स्तर पर आपदा प्रबंधन समिति गठित कर ली जाए।
उन्होंने कहा कि अधिशासी अभियंता बाढ़ कार्य खंड बाढ़ से प्रभावित होने वाले बंधे, तटबंध का अनुरक्षण कार्य मानसून के पूर्व पूरा कर लें। बाढ़ के समय बंधा या तटबंध को ठीक करने के लिए आवश्यक रणनीति एवं उसके लिए संसाधन की उपलब्धता सुनिश्चित कर लें।
पर्याप्त मात्रा में बोल्डर, बालू की बोरी, नायलान एवं जीआई क्रेट आदि की व्यवस्था पूरी कर लें। उन्होंने कहा कि आश्रय स्थलों एवं राहत शिविरों का सीमांकन कर लिया जाए। बाढ़ के समय भोजन, आवास, पेयजल, दवा आदि की समुचित व्यवस्था इन शिविरों में की जाए। जलमग्न क्षेत्रों के लिए मोबाइल चिकित्सकीय दल गठित किए जाएं। नाव, मल्लाह, गोताखोर की व्यवस्था एवं उनकी सूची मोबाइल नंबर सहित तैयार कर ली जाए। उन्होंने निर्देश दिया कि सभी बाढ़ राहत केंद्र पर सीएमओ चिकित्सकीय दल गठित करके तैनाती करें। जल निगम जल प्लावन क्षेत्र में इंडिया मार्क-2 हैंड पंप के स्थान पर वैकल्पिक पेयजल की व्यवस्था सुनिश्चित कराएं। मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी टीकाकरण एवं चारा भूसा की व्यवस्था करेंगे। उन्होंने कृषि विभाग को निर्देश दिया कि बाढ़ की स्थिति में वैकल्पिक बीज एवं फसल की व्यवस्था रखेंगें। जिला पूर्ति अधिकारी बाढ़ के दौरान उपयोग होने वाले भोज्य पदार्थ, खाद्यान्न, मिट्टी का तेल, डीजल आदि की उपलब्धता सुनिश्चित कराएंगे।उन्होंने निर्देश दिया कि बाढ़ के लिए जिला स्तर पर सिंचाई, राजस्व, विकास, स्वास्थ्य, पशुपालन, विद्युत, कृषि, आपूर्ति,पेयजल, परिवहन एवं लोक निर्माण विभाग जिला स्तरीय नोडल अधिकारी नामित करेंगे। बैठक का संचालन एडीएम रमेश चंद्र ने किया। उन्होंने निर्देश दिया कि तहसील स्तर पर भी बाढ़ कंट्रोल रूम स्थापित करें। वर्षा अवधि में वर्षा की सूचना तैयार करने की जिम्मेदारी आपदा लिपिक को दी गई है। बैठक में ज्वाइंट मजिस्ट्रेट, एसडीएम हर्रैया प्रेम प्रकाश मीणा, सीएमओ डॉ जेपी त्रिपाठी, डीसी मनरेगा इंद्रपाल सिंह, सन्जेश श्रीवास्तव, रमन मिश्र, अधिशासी अभियंता जल निगम, नलकूप, विद्युत, पीडब्ल्यूडी, पुलिस क्षेत्राधिकारी गिरीश सिंह, एसडीएम आसाराम वर्मा, तहसीलदार पवन जयसवाल तथा बाढ़ कार्य खंड प्रथम के अधिशासी अभियंता बलवीर सिंह एवं उनके सहायक अभियंता एवं जूनियर अभियंता गण उपस्थित रहे।

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