दलित मोची और राहुल गांधी मिलाप में दिखा त्रेता-द्वापर युग का मिश्रण
रामराज्य की दिखी झलक,राहुल ने मोची को दिया बराबरी का दर्जा
द्वापर के कृष्ण-सुदामा की दोस्ती सुल्तानपुर में हुई चरित्रार्थ
सुलतानपुर(विनोद पाठक)। दलित मोची के दुकान पर देश के लीडर ऑफ अपोजिशन राहुल गांधी रुकना और पहुंचना किसी बड़े बदलाव के संकेत को बयां कर रहा है। यहां पर राहुल गांधी के भाव और भावना को समझना पड़ेगा तो सारी चीजें अपने आप स्पष्ट हो जाएंगी। यानि कि राजा को प्रजा के सुखदुःख को समझना पड़ेगा। उसे जीवन के सफर में क्या परेशानी हो रही है। उस दिक्कत को दूर करने की कोशिश करनी पड़ेगी।शायद यही वजह है कि राहुल गांधी का मोची की दुकान पर पहुंचकर सारी चीजों को समझना और बराबरी का दर्जा देना। यही असली रामराज्य की परिकल्पना थी,जिसे राहुल गांधी चरित्रार्थ करते दिख रहे हैं कि सरकार ऐसी होनी चाहिए, जिसमें दैहिक,दैविक और भौतिक रूप का चित्रण हो। जिससे की प्रजा अर्थात जनता को न शारीरिक कोई तकलीफ़, न ही कोई आपदा आए, न ही अर्थ की कोई कमी रहे। यही संदेश दलित मोची की गुमटी पर देकर चले गए राहुल गांधी। फिलहाल दलित मोची की किस्मत भाग्य ने चमका दिया है। राहुल गांधी के इस बड़प्पन की चर्चा क्षेत्र में खूब चल रही है और सुर्खियों में मोची है।
देहाती एक कहावत है कि पुरुष की भाग्य कब बदल और चमक जाए? किसी को पता नही रहता। ऐसा ही वाकया सुल्तानपुर में दलित मोची के साथ हुआ। उसने कभी सपने में भी नही सोचा रहा होगा कि गांधी खानदान का व्यक्ति उसके चौखट(दुकान) पर दस्तक देगा। वह भी देश का (संसद)लीडर ऑफ अपोजिशन राहुल गांधी। जब उसे पता चला कि राहुल गांधी उसके बगल में बैठे हैं तो उसके खुशी का ठिकाना नही रहा।जितने भी समय मोची के साथ राहुल ने बिताए, उस पल को सोच सोच कर मोची रामचैत भावुक हो जा रहा है। राहुल गांधी और उसके बीच हुए संवाद को सुनने को सब आतुर हैं और सुना-बता रहा है। इसी बीच दूसरे दिन यानि कि 27 जुलाई को एक खुश खबरी मोची को और मिल गई। जब उसे पता चला कि राहुल गांधी ने उसे जूतों-चप्पलों की सिलाई के मशीन भेजी है, साथ ही व्यापार बढ़ाने के लिए आर्थिक सहायता राशि भेजी है तो उसे द्वापर के दिन याद आ गए। कृष्ण और सुदामा की। जो कहानी बचपन में सुना किया करता था कि भाग्य बदल सकती है। फिलहाल मोची राम चैत के दिन अब बहुर गए हैं। राहुल गांधी के उसके दुकान पर पहुंचने के बाद राम चैत क्षेत्र में सुर्खियों में चल रहे हैं। राहुल गांधी की टीम दुकान पर पहुंचकर जूते सिलने की मशीन सहित नकद देकर राम चैत का हौसला बढ़ाया है। वही राम चैत ने राहुल गांधी को मशीन के बदले दो जोड़ी जूते देकर किया सम्मान किया है।अभी 26 जुलाई को ही राहुल गांधी गुप्तार गंज कस्बे के विधायक नगर में मोची राम चैत के दुकान पर रुककर चप्पल की थी सिलाई। उसके साथ सेल्फी ली थी। व्यापार और मेहनत के बारे में पूछा था। अब उसकी किस्मत बदल गई है। मोची रामचैत ने राहुल गांधी के सहयोग की सराहना किया है।